BY- FIRE TIMES TEAM
योगी आदित्यनाथ सरकार ने मंगलवार को हाथरस सामूहिक बलात्कार की घटना को लेकर सुप्रीम कोर्ट में एक हलफनामा दायर किया है।
दायर किये गए हलफनामे में कहा है गया कि शीर्ष अदालत को स्वतंत्र और निष्पक्ष जांच के लिए मामले की सीबीआई जांच का निर्देश देना चाहिए।
हलफनामें में यह भी कहा गया कि अदालत को इस मामले की सीबीआई जांच की निगरानी भी करनी चाहिए।
राज्य ने अदालत को यह भी बताया कि सत्तारूढ़ भाजपा सरकार को बदनाम करने के लिए एक “शातिर अभियान” चलाया गया है।
योगी सरकार ने मामले में अब तक की गई जांच के बारे में भी विस्तार से बताया और कहा कि सिर्फ अपने स्वार्थ के लिए कुछ लोगों ने निष्पक्ष जांच में अड़चन पैदा करने के मकसद से यह सब कर रहे हैं।
सरकार ने शीर्ष अदालत को यह भी बताया कि जिला प्रशासन ने बलात्कार पीड़िता के माता-पिता को दिन में बड़े पैमाने पर हिंसा से बचने के लिए रात में उनकी लड़की का अंतिम संस्कार करने के लिए कहा था।
राज्य ने अपने हलफनामे में लाखों प्रदर्शनकारियों की संभावित विधानसभा के खुफिया इनपुट और इस मुद्दे को जाति / सांप्रदायिक रंग दिए जाने का हवाला दिया।
हाथरस जिले के एक गांव में 14 सितंबर को कथित रूप से गैंगरेप का शिकार हुई 19 वर्षीय दलित महिला की मौत के बाद चर्चा में है और साथ ही कथित तौर पर माता-पिता की सहमति के बिना रात में उसका दाह संस्कार किये जाने से समाज मेें एक नाराजगी पैदा हो गई है।
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